एक निली ऊंचाई
और एक निली गहराई
इन्हें देखते खड़ा हूँ मैं
एक बीज
गिली
मिट्टी में पिरोए हुए
उगने को बेताब
एक हरियाली भितर समेटें हूए
उस लाल-पीले सूरज के
और पास जाने की
आस लगाए हुए
खड़ा हूँ मैं
गिली मिटटी में एक बीज पिरोए हुए