Monday, December 31, 2012

एक झूट - एक सच

उसने माँ को फोन किया 
और कहाँ 
मेरी ट्रेनिंग ख़तम हो गयी हैं 
आजसे मैं पर्मनंट हो गयी हूँ 

माँ ने शक्कर रखी भगवान के सामने 
और दो आसूं बहाए 
बेटी के बाबा के फोटो के सामने 

उन्होंने आठ महीने पहेले 
खुदख़ुशी की थी खेत में दवाई पी कर 

और आज,
बेटी अपने एजंट से रेट का आधा हिस्सा 
पाने की ख़ुशी और ग़म 
शराब पी कर मना रही थी 

1 comment:

  1. Spellbound... Afaat ashay aahe, jityka sahajtene mandla ahes, titkyach sahaj bhidte hi kavitaa manaalaa...

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